हम सिमटते गए उनमें और वो हमें भुलाते गए
हम मरते गए उनकी बेरुखी से और वो हमें आजमाते गए
सोचा की मेरी बेपनाह मोहब्बत देखकर सीख लेंगी वफाएँ करना
पर हम रोते गए और वो हमें खुशी-खुशी रुलाते गए

Create a poster for this message
Visits: 184
Download Our Android App